
रानीगंज/ (दलजीत सिंह ) शनिवार को डीएवी मॉडल स्कूल के सभागार में दसवीं और बारहवीं कक्षा के मेधावी विद्यार्थियों को सम्मानित करने के लिए विशेष कार्यक्रम ‘आरोहण’ का आयोजन किया गया। ‘आरोहण’ सफलता के शिखर तक पहुँचने के लिए वर्षभर छात्रों के द्वारा किए गए निरंतर प्रयास और उन्नति का प्रतीक है।
श्री बृजेंद्र प्रताप सिंह (प्रभारी निदेशक, बर्नपुर-दुर्गापुर स्टील प्लांट) ने मुख्य अतिथि के रूप में इस अवसर की शोभा बढ़ाई। श्री कबी दत्ता (अध्यक्ष, आसनसोल-दुर्गापुर विकास प्राधिकरण) और श्री ए.के. आज़ाद इस्लाम ( आयुक्त, डीएमसी, सिटी सेंटर, दुर्गापुर) सम्मानित अतिथि के रूप में उपस्थित थे। अन्य अतिथियों में डीएवी प्रबंधन समिति के सदस्य और डीएवी पश्चिम बंगाल शाखा के विभिन्न प्राचार्य शामिल थे।
आमंत्रित अतिथियों का तिलक लगाकर और पौधा प्रदानकर स्वागत किया गया। कार्यक्रम का शुभारंभ गायत्री मंत्र के जाप के साथ दीप प्रज्ज्वलित कर हुआ।
कार्यक्रम की शुरुआत विद्यालय के ‘कोयर ग्रुप’ के विद्यार्थियों द्वारा उद्घाटन गीत के साथ हुई। इसके बाद रंगारंग सांस्कृतिक कार्यक्रम का आयोजन किया गया।
विद्यालय की प्राचार्य और पश्चिम बंगाल डीएवी संस्थान की क्षेत्रीय अधिकारी पापिया मुखर्जी ने अतिथियों का स्वागत और धन्यवाद किया। दसवीं और बारहवीं के सीबीएसई बोर्ड-परीक्षा में सफल विद्यार्थियों को बधाई देते हुए उन्होंने विद्यालय की वार्षिक प्रतिवेदन प्रस्तुत की। कक्षा 10 वीं की बोर्ड परीक्षा में उपस्थित होने वाले 391 विद्यार्थियों में से 142 ने 90 प्रतिशत और उससे अधिक अंक प्राप्त किए, जिसमें सबसे अधिक 98.8 प्रतिशत था, जबकि कक्षा 12 वीं की बोर्ड परीक्षा में उपस्थित होने वाले 565 छात्रों में से 105 ने 90 प्रतिशत और उससे अधिक अंक प्राप्त किए, जिसमें स्कूल टॉपर ने वाणिज्य संकाय में 97 प्रतिशत अंक प्राप्त किए, इसके बाद विज्ञान संकाय में 96.8 प्रतिशत और मानविकी संकाय में 96.4 प्रतिशत उच्चतम प्रतिशत रहा। अपने भाषण में पापिया मुखर्जी ने कक्षा 10 वीं और 12 वीं के सीबीएसई बोर्ड-परिणामों के अलावा विभिन्न प्रतियोगी परीक्षाओं, खेल, सह-पाठयक्रम विषयों में विद्यार्थियों की सफलता पर भी प्रकाश डाला। इस अवसर पर उन्होंने अभिभावकों से आग्रह किया कि वे न केवल पढ़ाई में बल्कि खेल या अन्य सह-पाठयक्रम गतिविधियों के स्तर को सुधारने का प्रयास करें, ताकि छात्रों का पढ़ाई में उत्साह कभी न खोए। स्कूल अपनी प्रतिभा को विकसित करने के लिए आदर्श स्थान है। उन्होंने ज़ोर देकर कहा कि विद्यालय विद्यार्थियों के सामग्रिक विकास हेतु अग्रणी रहा है और आगे भी भारत के भविष्य के नागरिकों को वैश्विक मंच पर खड़ा करने के लिए अथक प्रयास करेगा। उन्होंने इस सफलता का श्रेय अभिभावकों, शिक्षकों, गैर-शिक्षण कर्मचारियों के सहयोग को दिया।
अतिथियों ने अपने भाषणों में सभी सफल विद्यार्थियों को बधाई देते हुए कहा कि विद्यार्थियों का प्रदर्शन, उनका अनुशासन प्रशंसनीय है। उन्होंने यह भी कहा कि अभिभावकों को छात्रों पर अपनी राय नहीं थोपनी चाहिए। विद्यार्थियों में छिपी जन्मजात प्रतिभा को सफल बनाने के लिए हरसंभव प्रयास होना चाहिए।
अपने भाषण में मुख्य अतिथि ने कहा कि सफलता के साथ-साथ असफलता को भी स्वीकार करना चाहिए। हम हर दिन हर पल सीख रहे हैं, और यह सीख हमें एक नई राह दिखाएगी। उन्होंने यह भी कहा कि छात्र सभी का आशीर्वाद ले रहे हैं, यह हमारे देश की संस्कृति है, इसलिए उन्हें पाठ्यक्रम की शिक्षा के साथ-साथ नैतिक मूल्यों की शिक्षा को भी नहीं भूलना चाहिए।
इस अवसर पर विद्यालय के विद्यार्थियों ने “विजय की प्रतिध्वनि” शीर्षक के अंतर्गत रंगारंग मनमोहक सांस्कृतिक कार्यक्रम प्रस्तुत किया। विद्यार्थियों ने बड़े कौशल के साथ नृत्य, कोरल संगीत आदि का प्रदर्शन किया और दर्शकों की सराहना अर्जित की।
बाद में अतिथियों ने ‘पिक्चर परफेक्ट स्टेज’ पर मेधावी विद्यार्थियों को प्रमाण पत्र व मेडल प्रदान किए।
इस खास दिन पर स्कूल की वार्षिक पत्रिका ‘स्मृति’ का लोकार्पण विद्यालय की प्राचार्य और पश्चिम बंगाल डीएवी संस्थान की क्षेत्रीय अधिकारी पापिया मुखर्जी और अन्य गणमान्य व्यक्तियों ने किया।
अंत में राष्ट्रगान के साथ कार्यक्रम का समापन हुआ।
