
डालखोला श्री अग्रसेन महाविद्यालय द्वारा आयोजित इस संगोष्ठी में प्राचीन काल की पुरातात्त्विक अवशेष, साहित्य, लोक संस्कृति, नदियों का इतिहास और पौराणिक मानचित्रण सहित उत्तर बंगाल की ऐतिहासिक और सांस्कृतिक विविधताओं पर शोध और चर्चा की जाएगी। इस क्षेत्र की भूमि और प्रकृति जितनी समृद्ध है, उतनी ही राजनीति, अर्थव्यवस्था और उद्योगों के विकास से भी इसका गहरा संबंध है। पुंड्रवर्धन का समृद्ध इतिहास, पाल साम्राज्य के शासनकाल में कला-संस्कृति का विकास और तुर्को-अफगान काल की राजनीतिक अस्थिरता ने उत्तर बंगाल के इतिहास को और भी विविधतापूर्ण बना दिया है।
इस संगोष्ठी का मुख्य उद्देश्य था इतिहास की चर्चा में उत्तर बंगाल के विशेष योगदान और ऐतिहासिक महत्व को सही रूप में प्रस्तुत करना।
