कोलकाता, 9 सितंबर । पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने सोमवार को कहा कि कोलकाता पुलिस आयुक्त विनीत कुमार गोयल आरजी कर मेडिकल कॉलेज घटना के मद्देनजर अपना इस्तीफा देने के लिए कई बार उनके पास आए।
बलात्कार और हत्या के मुद्दे पर जारी विरोध प्रदर्शनों के बीच राज्य के वरिष्ठ पुलिस अधिकारियों और नौकरशाहों के साथ बैठक के बाद मुख्यमंत्री ने मीडियाकर्मियों से कहा, “कमिश्नर कई बार इस्तीफा देने के लिए मेरे पास आए। वह एक सप्ताह पहले भी इस उद्देश्य से मेरे पास आए थे। लेकिन दुर्गा पूजा का त्योहार आगे है, जो व्यक्ति प्रभारी होगा, उसे कानून और व्यवस्था से संबंधित मौजूदा स्थिति के बारे में पता होना चाहिए। कुछ और दिन धैर्य रखने में क्या बुराई है? प्रदर्शनकारी सभी को बदलने की मांग कर रहे हैं। मैं पांच को बदल सकती हूं, लेकिन अन्य पांच को नहीं बदल सकती।”
शहर के पुलिस प्रमुख को विशेष रूप से राज्य की चिकित्सा बिरादरी और नागरिक समाज की तीखी आलोचना का सामना करना पड़ा था। प्रारंभिक जांच में कथित खामियों के मद्देनजर नैतिक आधार पर उनके इस्तीफे की मांग की जा रही है।
मुख्यमंत्री ने केंद्रीय गृह मंत्रालय की उस शिकायत को भी खारिज कर दिया, जिसमें राज्य सरकार पर केंद्रीय औद्योगिक सुरक्षा बल (सीआईएसएफ) के जवानों को आवश्यक सहयोग प्रदान नहीं करने का आरोप लगाया गया था। सीआईएसएफ के जवानों को जिन्हें सुप्रीम कोर्ट के निर्देश के बाद आरजी कर मेडिकल कॉलेज और अस्पताल में तैनात किया गया है।
उन्होंने कहा, “मैंने उनके लिए कोलकाता नगर निगम द्वारा संचालित एक प्राथमिक विद्यालय और 30 बिस्तरों वाला एक अस्पताल की व्यवस्था की। इसके बाद, उन्होंने सामुदायिक हॉल की मांग की। अगर मैं यह मांग पूरी कर दूं, तो उन लोगों का क्या होगा जिनके लिए सामुदायिक हॉल बनाए गए हैं?”
उन्होंने यह भी कहा कि केंद्र सरकार को भी इस मामले में कुछ जिम्मेदारी लेनी चाहिए, न कि सारा बोझ राज्य सरकार पर डालना चाहिए।
बनर्जी ने कहा कि केंद्र सरकार का आरोप निराधार हैै। इस साजिश में केंद्र सरकार के साथ कुछ वामपंथी दल शामिल हैं।”