बराकर। बराकर पिंजरापोल सोसाइटी (गौशाला) में विगत पांच महीने से चल रहा विवाद अपने उफान पर है। गौशाला कमेटी के पूर्व सदस्य मनोज पोद्दार, उद्योगपति ओम प्रकाश केजरीवाल एवं व्यवसाई प्रकाश चंद्र अग्रवाल ने इसको लेकर एक प्रेस वार्ता का आयोजन 20 नवंबर बुधवार को बराकर हाट तल्ला में किया गया। प्रेस को संबोधित करते हुए तीनों ने बताया कि बराकर में सौ साल से भी अधिक समय से मारवाड़ी समाज निवासरत है और ज्यादातर व्यवसाय से जुड़े हुए हैं, जिसके फलस्वरूप व्यवसाय के संग गौ वंशों की सेवा हेतु गौशाला का गठन चार दशक पूर्व किया गया था। कई वर्षों तक सुचारू रूप से संचालित हुई गौशाला में आज अनियमितता की बाढ़ आई हुई है। गौशाला का उद्देश्य टली हुई गायों की सेवा करना है लेकिन वर्तमान एवं निवर्तमान कमेटी ने केवल दुधारू गायों पर ही ज्यादा ध्यान दिया है। चंदा के पैसे से टली गायों की सेवा करना ही गौशाला का मकसद होता है। साथ ही तीनों ने मनमाने ढंग से कमेटी का गठन और किचेन कैबिनेट की तर्ज पर संचालन का विरोध जताया। ओम प्रकाश केजरीवाल ने बताया कि पांच माह पूर्व से समाज में लोगों का आपसी गतिरोध चल रहा है जिसको मिटाने के लिए हमने आधा दर्जन बार पहल की जिसकी अनदेखी गौशाला से जुड़े लोगों सहित स्थानीय विधायक डॉ अजय कुमार पोद्दार ने भी किया। मनोज पोद्दार ने कहा कि छपने वाली वार्षिक स्मारिका में उद्धृत हिसाब को देखने से पता चलता है कि गौशाला कमेटी ने गड़बड़ी की है। श्री पोद्दार ने कहा कि जब उन्होंने कमेटी में रहते हुए विरोध किया और कमेटी संचालन को सुचारू करने के बारे में कमेटी पदाधिकारियों से गुहार लगाई तो उन्होंने भी उनकी अपमान किया। यहां तक कि दो माह पहले कमेटी सदस्य शिवकुमार अग्रवाल की पहल पर कमेटी ने कुल्टी विधायक एवं मारवाड़ी पंचायती ठाकुरबाड़ी के संरक्षक डॉ पोद्दार की उपस्थिति में उन्हें कमेटी से हटा डाला, वो भी बिना उनकी उपस्थिति अथवा सूचना दिए। श्री पोद्दार ने आगे कहा कि मनमाने ढंग से कमेटी से उन्हें, अनिल अग्रवाल और मधुर कांत शर्मा सहित आधा दर्जन लोगों को निकाला गया जो कमेटी संचालन में तानाशाही रवैया को दर्शाता है। मनोज पोद्दार ने चुनौती देते हुए गौशाला कमेटी को आगाह किया कि सत्य और गौ माता की सेवा के लिए वे आगामी हर सकारात्मक कदम उठाएंगे जिसकी आवश्यकता होगी। प्रकाश चंद्र अग्रवाल ने कहा कि बराकर में मारवाड़ी समाज में क्या कोई एक भी व्यक्तित्व नहीं जो गतिरोध और रस्साकसी को मिटा सके। उन्होंने आगे बताया कि समाज में अगर प्रतिरोध उठ रहा है तो गौशाला कमेटी को जवाब देने में क्या असुविधा है। कमेटी की बर्बर सोच से गौशाला एवं समाज का कभी भला नहीं हो सकता है। साथ ही आयोजनों में केवल फोटो खिंचवाने के अलावा कमेटी का गौवंशों की देखभाल को लेकर कोई फोकस नहीं रहता है। दूध वितरण में भी गड़बड़ी यदा कदा सामने आती ही है।
– जरूरत पड़ी तो करेंगे नुक्कड़ सभा: केजरीवाल
ओम प्रकाश केजरीवाल ने कहा कि बराकर गौशाला कमेटी के कानों पर जूं भी नहीं रेंग रही है लेकिन उन्हें लोगों से आशा है कि सत्य की लड़ाई में उनका संग बराकर के प्रबुद्ध मारवाड़ी देंगे। आज विवश होकर प्रेस वार्ता करनी पड़ी है और कमेटी की तानाशाही यूं ही चलती रही तो आगामी दिनों में नुक्कड़ सभा से लेकर प्रशासनिक अधिकारियों तक गुहार लगाने का काम हम करेंगे। गौशाला में एक रुपए का चंदा देने वाले को भी बराबर का अधिकार है क्यों कि यह सार्वजनिक संस्था है।
– मैं साबित कर दूंगा आर्थिक हेर फेर को: मनोज पोद्दार
मनोज पोद्दार ने कहा कि गौशाला की पुरानी स्मारिका को खंगालने पर ही ज्ञात हो जाता है कि गौशाला संचालन में हेर फेर हुई है। उन्होंने दिलीप गुप्ता, अर्जुन अग्रवाल, बालमुकुंद अग्रवाल, शिवकुमार अग्रवाल, विकास जीवराजका, दिलीप गुप्ता आदि लोगों का नाम लेकर कॉकस बनाकर सार्वजनिक संस्था के संचालन में मनमानी का आरोप भी लगाया।
गौशाला के सचिव विकास जीवराजका ने बताया कि यह सभी पूर्ण रूप से निराधार और मनगढ़ंत बात है उन्होंने कहा कि जो व्यक्ति आरोप लगा रहा है वह अपने ही दौरान जब 10 वर्ष तक सदस्य था कोषाध्यक्ष या अध्यक्ष का कम खास था मगर उनका यह ज्ञान था कि गबन या घोटाला हुआ है तो वह चुप क्यों था वह इसलिए चुप था क्योंकि ऐसा कुछ हुआ ही नहीं चुकी गौशाला से जब उसे निष्कासित किया गया क्योंकि वह गौशाला विरोधी बातें करने लगा तब गौशाला कमेटी को यह लगा की गौशाला के हित का आदमी वह नहीं है और उसे गौशाला कमेटी से निष्कासित कर दिया गया इसका एक ही उद्देश्य है की गौशाला को बंद कर दिया जाए उन्होंने कहा कि निराधार बातों का समय और समाज जवाब जरूर देगा उन्होंने कहा कि अभी के अध्यक्ष सहित अन्य कई ऐसे पदाधिकारी हैं जिनके परिवार का कोई गौशाला का सदस्य नहीं है इसलिए परिवारवाद की बात भी यहां लागू नहीं होती है उन्होंने कहा कि जब तक शरीर में जान है प्राण है गौशाला ऐसे ही चलेगा गौशाला एक सेवा का स्थान है और गौशाला सभी के लिए खुला है कोई भी जाकर देख सकता है कि यहां किस तरह से गोवंशों की सेवा हो रही है संभावनाएं हर जगह है और बेहतर क्या किया जा सके हम लोग इसका प्रयास हर वक्त करते रहेंगे ।