कोलकाता, 3 मई । कलकत्ता हाईकोर्ट में केंद्र सरकार ने बताया है कि पश्चिम बंगाल में जिन मामलों की सीबीआई जांच चल रही है उनमें तेजी लाने के लिए दिल्ली से पांच दक्ष अधिकारी बंगाल आ रहे हैं। केंद्र के अतिरिक्त सॉलिसिटर जनरल अशोक कुमार चक्रवर्ती ने कहा कि राज्य में शिक्षक नियुक्ति समेत कई अन्य महत्वपूर्ण मामलों की जांच केंद्रीय एजेंसी के जिम्मे है। कई मामलों में राजनीतिक प्रभाव भी है। इसीलिए मामलों की जांच में तेजी आए यह केंद्रीय एजेंसी की प्राथमिकता है और इसीलिए दक्ष अधिकारियों को दिल्ली से बुलाया जा रहा है। न्यायमूर्ति राजशेखर मंथा की पीठ में जब कुमार ने यह बात कही तो जस्टिस ने कहा कि बार-बार सीबीआई को जांच सौंपना अच्छा नहीं लगता। लेकिन मामले ऐसे होते हैं जिन्हें सीबीआई को सौंपी जाने के अलावा और कोई रास्ता नहीं बचता।
उन्होंने यह भी कहा कि हम जानते हैं कि केंद्रीय एजेंसी के पास इतने अधिक अधिकारियों की कमी है जो इतने सारे मामलों की जांच कर सकें।
इसके अलावा कांथी नगरपालिका के टेंडर में भ्रष्टाचार को लेकर शुभेंदु अधिकारी के भाई सौमेंदु मामले में गवाह शांतनु और काकोली पांडा को धमकी देने का मामला सामने आया है। इसे लेकर पुलिस की भूमिका पर असंतोष जाहिर करते हुए कोर्ट ने कहा कि पुलिस का बर्ताव निश्चित तौर पर आपत्तिजनक है। जल्द ही न्यायालय इस मामले में कठोर कदम उठाने वाला है। उन्होंने थाने का सीसीटीवी फुटेज तीन सप्ताह के भीतर कोर्ट में पेश करने को भी कहा है।