सूत्रों के अनुसार, कार्तिक महाराज की सुरक्षा के लिए केंद्रीय सशस्त्र पुलिस बल (सीएपीएफ) के चार जवानों को तैनात किया गया है। इस बात की खुफिया इनपुट मिली थी कि कार्तिक महाराज पर हमले हो सकते हैं। इस आशंका के बाद उन्हें केंद्रीय सुरक्षा मुहैया कराने का फैसला लिया गया।
पिछले महीने कार्तिक महाराज ने अपने आश्रम पर हमले की आशंका जताते हुए की मांग करते हुए कलकत्ता हाईकोर्ट का दरवाजा खटखटाया था। उन्होंने मुख्यमंत्री की टिप्पणियों को लेकर उन्हें कानूनी नोटिस भी भेजा था।
अदालत में याचिका दायर करने के बाद कार्तिक महाराज ने मीडियाकर्मियों के सामने दावा किया था, उन्हें एक फोन कॉल आया था। फोन करने वाले ने बेलडांगा स्थित भारत सेवाश्रम संघ इकाई को ध्वस्त करने की धमकी दी थी।
इसके बाद आईबी की इनपुट को ध्यान में रखते हुए केंद्रीय गृह मंत्रालय ने तत्काल उनकी सुरक्षा सुनिश्चित करने का निर्णय लिया है।