राष्ट्रीय कवि संगम पश्चिम बंगाल की दक्षिण कोलकाता द्वारा नववर्ष का भव्य आयोजन : राष्ट्र जागरण धर्म हमारा दूजा नहीं विकल्प-गिरिधर राय

133वी जयंती पर याद किए गए डॉ.भीम राव अम्बेडकर

कोलकाता : 15.अप्रैल ; राष्ट्रीय कवि संगम पश्चिम बंगाल दक्षिण कोलकाता इकाई द्वारा नववर्ष के पावन अवसर पर एक भव्य कविसम्मेलन का आयोजन गूगल मीट पर किया गया जिसकी अध्यक्षता प्रांतीय अध्यक्ष डॉ.गिरिधर राय ने की। अपने अध्यक्षीय वक्तव्य में राय ने बहुभाषीय कवि सम्मेलनों की उपयोगिता पर प्रकाश डालते हुए ‘राष्ट्र जागरण धर्म हमारा दूजा नहीं विकल्प’ की व्याख्या की। काव्यगोष्ठी की शुरुआत कामायनी पाण्डेय की सरस्वती वंदना से हुई। कार्यक्रम के प्रारंभ में डॉ. भीम राव अम्बेडकर को उनकी 133वीं जयंती पर याद किया गया। ‘स्वागतम् नववर्ष’ कार्यक्रम का मुख्य उद्देश्य नए वर्ष का स्वागत करना था, जिसमें हिन्दी, बांग्ला, भोजपुरी एवं मैथिली भाषा के कवियों को आमंत्रित किया गया था जिससे स्वागतम् नववर्ष कार्यक्रम में रोचकता भी आई।आमंत्रित कवियों ने नववर्ष ही नहीं समाज के हर विषय में लिखीं हुई अपनी रचना की प्रस्तुति दी, जिनमें मुख्य स्वर क्रमशः हिमाद्री मिश्रा, स्वागत बासु, दीपक बासु, कामायनी संजय, पृथा चटर्जी, मोहन चतुर्वेदी ‘बैरागी’, श्रद्धा गुप्ता ‘केशरी’, रेखा रंजक, रंजन कुमार मिश्रा, कंचन राय, देवेश मिश्र,बलवंत सिंह गौतम आदि थे। डॉ. सत्य प्रकाश तिवारी,मुकेश कुमार , विनोद यादव, नीलम आदि भी श्रोता के रूप में उपस्थित होकर आमंत्रित कवियों का उत्साहवर्धन किया।
प्रांतीय सह महामंत्री बलवंत सिंह ने अपने धन्यवाद ज्ञापन में कहा कि मानवता जो अहिल्या सी पथरा गई है उसे हमे अपने स्पर्श से जगाना होगा। उन्होंने
नववर्ष के महत्व पर प्रकाश डालते हुए सभीकवियों, अतिथियों और श्रोताओं को अपना अमूल्य समय देकर कार्यक्रम को सफल बनाने हेतु उनका हार्दिक आभार व्यक्त किया।

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