कोलकाता । राजधानी कोलकाता के राजकीय मेंटल हॉस्पिटल पैवलव में भ्रष्टाचार से सबक लेते हुए राज्य स्वास्थ्य विभाग ने राज्य के सभी मेंटल अस्पतालों की स्थिति का ब्यौरा मांगा है। कोलकाता के अस्पताल की बदहाल स्थिति के बारे में तोपसिया थाने की पुलिस ने साल भर पहले ही रिपोर्ट दी थी लेकिन अधिकारी निष्क्रिय बने रहे। पैवलव कोलकाता ही नहीं राज्य का सबसे बड़ा मेंटल अस्पताल है जहां की अव्यवस्थाएं फ़िलहाल सुर्खियों में हैं। 2019 में वहां से 15 साल का एक विचाराधीन कैदी फरार हो गया था। तोपसिया थाने की पुलिस जांच में जुटी थी। तब रिपोर्ट दी गई कि अस्पताल में सुरक्षा व्यवस्था पूरी तरह से लुंज पुंज है। लोहे की फेंसिंग तोड़ दी गई है और चारदीवारी भी तोड़ दी गई है। अब तक 17 रोगी अस्पताल से फरार हो चुके हैं। कई बार मरम्मत की बातें किए जाने के बावजूद उस पर क्रियात्मक कदम नहीं उठाया गया। अस्पताल में गंदगी का अंबार लगा है और दुर्गंध के कारण स्वास्थ्य कर्मियों और पुलिसकर्मियों का ड्यूटी करना भी मुश्किल होता है। अब राज्य स्वास्थ्य विभाग ने राज्य के सभी मेंटल हॉस्पिटल्स की स्थिति का आकलन करना शुरू कर दिया है। जैसे अस्पताल में कितने बेड हैं, कितने रोगी भर्ती हैं, कितने साइकैटरिस्ट हैं, कितने प्रोफ़ेसर, असिस्टेंट प्रोफेसर और मेडिकल ऑफिसर हैं, इस बारे में हर एक अस्पताल से रिपोर्ट मांगी गई है। हालांकि स्वास्थ्य विभाग के पास इसकी रिपोर्ट पहले से मौजूद है लेकिन उनमें से कितने कारगर हैं, यह भी परखा जा रहा है।